लोक सभा और विधान सभा के चुनाव एक साथ होना चाहिये
मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि लोक सभा और विधान सभा के चुनाव एक साथ होना चाहिये। इसके लिये संविधान में संशोधन होना चाहिये। इससे सत्ताधारी राजनैतिक दलों को विकास योजनाएं बनाने और उन्हें अच्छी तरह लागू करने का समय मिलेगा। उन्होंने कहा कि बार-बार चुनावों से धन और ऊर्जा दोनों का क्षय होता है। प्रयोग के तौर पर प्रदेश में पंचायतों, नगरीय निकायों, सहकारिता संस्थाओं, जल उपभरोक्ता संस्थाओं और अन्य संस्थाओं के चुनाव एक साथ कराने पर विचार किया जायेगा। श्री चौहान आज यहां एक न्यूज चैनल द्वारा आयोजित बिजनेस लीडर्स समिट को संबोधित कर रहे थे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में सिंचाई क्षमता बढ़ाने पर एक लाख दस हजार करोड़ रूपये खर्च किये जायेंगे। अगले पांच सालों में सिंचाई क्षमता बढाकर 80 लाख हेक्टेयर की जायेगी। उन्होने कहा कि मध्यप्रदेश का अभूतपूर्व विकास हुआ है। प्रति व्यक्ति आय बढ़ी है। विकास दर पिछले तेरह सालों में दो अंकों में रही है।
श्री चौहान ने कहा कि प्रदेश की 65 प्रतिशत जनसंख्या कृषि पर निर्भर है। किसानों ने अभूतपूर्व कृषि उत्पादन दिया है। कृषि उत्पादन अब समस्या नहीं रही। अब किसानों को सही मूल्य दिलाने की चुनौती है। इसके लिये न्यूनतम समर्थन मूल्य, भावांतर भुगतान योजना और मुख्यमंत्री कृषि समृद्धि योजना जैसे बेहतर विकल्प उपलब्ध कराये गये है। उन्होने कहा कि भावांतर भुगतान योजना को पूरे देश में लागू करने पर केन्द्र विचार कर रहा है।
बासमती चावल के मुददे पर मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश के किसान 1908 से बासमती चावल का उत्पादन कर रहे हैं। कनाडा और अमेरिका में जितना बासमती चावल का निर्यात होता है, उसमें 50 प्रतिशत सिर्फ मध्यप्रदेश से हो रहा है। उन्होंने कहा कि कुछ निर्यातकों और विशेष रूप से पाकिस्तान को यह पसंद नहीं कि मध्यप्रदेश के बासमती चावल को भौगोलिक पहचान का प्रमाणपत्र मिले। बासमती उत्पादक किसानों के लिये पूरी ताकत से लड़ाई लड़ेंगे और जीतेंगे।
श्री चौहान ने कहा कि केन्द्र सरकार द्वारा केन्द्रीय करों में राज्य की हिस्सेदारी 32 प्रतिशत से बढ़ाकर 42 प्रतिशत करने से राज्यों का राजस्व आधार मजबूत हुआ है। राज्य को केन्द्रीय करों और अन्य योजनाओं में एक लाख करोड़ रूपये मिल चुके हैं। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री असंगठित क्षेत्र श्रमिक कल्याण योजना देश की सबसे बड़ी सामाजिक सुरक्षा योजना है। श्रमिकों के बच्चों की पहली कक्षा से लेकर पीएचडी तक की पढ़ाई-लिखाई, श्रमिकों का मुफ्त इलाज जैसी सुविधाएं मिलेंगी। उन्हें 2022 तक पक्का मकान मिलेगा। वे आवासीय जमीन के मालिक होंगे।
पूर्ण शराब बंदी के बारे में अपने विचार रखते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि यह सामाजिक जन-जागरण से जुड़ा विषय है। इसकी हानि के प्रति जागरूकता बढ़ाकर इसे पूरी तरह समाप्त किया जा सकता है। कानून व्यवस्था के संबंध में उन्होंने कहा कि सरकार गुंडो के लिये कठोर है। गुंडों को सबक सिखाने में नागरिकों का सहयोग चाहिये। श्री चौहान ने कहा कि महिलाओं के स्व-सहायता समूहों के परिसंघों को पोषण आहार तैयार करने की निर्माण इकाईयों का संचालन सौंपने का फैसला लिया गया है। अगले छह महीनों में महिला स्व-सहायता समूहों के परिसंघ पोषण आहार कारखानों का संचालन करने की स्थिति में होगे।