चण्डीगढ़। हरियाणा के रोहतक में चल रहे तीसरे कृषि शिखर सम्मेलन में केन्द्रीय कृषि मंत्री राधा मोहन, हिमाचल प्रदेश के कृषि मंत्री रामलाल मारकनंदा के साथ हरियाणा के कृषि मंत्री ओमप्रकाश धनखड़ ने विशेषकर कैटल फार्म सूक्ष्म सिंचाई योजना, बागवानी, कृषि उत्पाद एवं विभिन्न फर्मों द्वारा बनाए जाने वाले कृषि एवं पशु दुग्ध उत्पादकों की प्रदर्शनी का गहन अवलोकन किया।
केन्द्रीय कृषि मंत्री कैटल फार्म में मुर्राह नस्ल के झोटे देखकर प्रभावित हुए और हरियाणा के कृषि मंत्री को बधाई देेते हुए कहा कि वास्तव में हरियाणा दूध, दही का खाना और पहलवान बनाने वाली कहावत को पूर्ण रूप से साकार कर रहा है। हरियाणा सरकार पूरे देश में किसानों के लिए जो कार्य कर रही है, वे सराहनीय है।
केन्द्रीय कृषि मंत्री ने समालखा के पशुपालक का झोटा युवराज देखकर बड़े स्नेह के साथ उस पर हाथ रखते हुए सोने की खान नाम दिया। पशुपालक से बातचीत करते हुए युवराज की खूबियों की चर्चा सुनकर उसकी पीठ थपथपाई। पशुपालक भी बड़े चाव से केन्द्रीय कृषि मंत्री के साथ सेल्फी लेने में मग्र हो गए। केन्द्रीय मंत्री ने पशुपालक को कहा कि यह झोटा युवराज नाम की परिभाषा को भी चरितार्थ कर रहा है। इसी दौरान केन्द्रीय मंत्री को प्रदेश के कृषि मंत्री ओमप्रकाश धनखड़ ने कैटल फार्म में प्रदेशभर से आए पशुपालकों का परिचय करवाया और उन्हें देशभर में आयोजित की जाने वाले मुर्राह चैम्पियनशिप में पुरस्कृत होने की बधाई दी।
कैटल फार्म के दूसरे राउंड में सबसे अधिक लगभग 50 किलोग्राम दूध देने वाली भैंस मालिकों के साथ भी केन्द्रीय कृषि मंत्री ने सहर्ष भाव से जानकारी ली और उन्हें उनके प्रांत में इन भैंसों को बढ़ावा देने बारे आवश्यक टिप्स लिए। उन्होंने कहा कि बच्चों से भी बढक़र पशुओं को रखना यही हरियाणा की विशेष पहचान है। इसलिए प्राचीन समय से ही प्रदेश को गुणों की खान कहा जाता है। इसके बाद उन्होंने पेरी खेती हाल में आंवला, स्ट्राबेरी, बेर, आलू, मक्की, किन्नू, अमरूद, खूम्बी, शिमला मिर्च, टमाटर व मटर आदि फल एवं सब्जियों की प्रदर्शनी का अवलोकन किया। आंवले के साथ गाय के दूध से बने उत्पाद विशेषकर लड्डू, कैण्डी को चैक करके केन्द्रीय मंत्री उनकी सराहना किए बगैर नही रह सके।
कृषि मंत्री ओमप्रकाश धनखड़ ने केन्द्रीय मंत्री से अनुरोध किया कि वे विशेषकर सब्जियों व फलों की फसलों को सुरक्षित रखने के लिए भण्डारण व सॉस व जैम आदि के केन्द्र बनाए ताकि प्रदेश के किसानों की सब्जियों व फलों की फसलें बर्बाद न हो। उन्होंने कहा कि दिल्ली की मंडियों में भी प्रदेश का अधिकांश किसान अपनी सब्जियों एवं फलों को बेचने का कार्य कर रहा है लेकिन इसके बावजूद भी सब्जी एवं फल जल्दी खराब होने की आशंका रहती है। यदि टमाटर और आंवला से बनने वाले उत्पादों के कारखाने प्रदेश में लगाए जाए तो इन फलों को देश के अन्य राज्यों में भी भेजकर इनका स्वाद चखवाया जा सकता है। इस अवसर पर उनके साथ एमओएस कृषि गजेंद्र सिंह शेखावत, निदेशक डीके बेहरा, मनजीत सिंह बराड़, उपायुक्त डॉ. यश गर्ग, पुलिस अधीक्षक पंकज नैन, भाजपा जिला अध्यक्ष अजय बंसल, प्रवीन घुसकानी सहित कई भाजपा नेता उपस्थित थे।